भारत में कुल कितनी भाषा बोली जाती है 2023: आज हम आपको इसी बारे में बताने जा रहे हैं। जैसा कि हम सभी जानते है कि हमारा देश इंडिया अनेकता में एकता के लिए जाना जाता है। इसके अलावा भारत अपनी विविधताओं के दुनिया भर में प्रसिद्ध है। जिस प्रकार भारत में विभिन्न धर्म के लोग रहते है उसी तरह यहाँ कई सारी भाषा बोली जाती है।
उदाहरण के तौर पर जैसे उत्तर और मध्य भारत में मुख्यता हिन्दी भाषा सुनी जा सकती है। वहीं दक्षिण भारत की मुख्य लैंग्वेज कन्नड़, तेलुगु और तमिल है। पश्चिम में गुजराती, राजस्थानी, पंजाबी और हरयाणवी भाषाओं को सुना जा सकता है। पूर्वी भारत की बात करे तो यहाँ इनकी अपनी अलग भाषा है कुल मिलाकर भारत अनेक भाषा का देश है।
ऐसे में आपको भारत में कौन कौन सी भाषाएं बोली जाती है जानना चाहिए आपकी जानकारी के लिए बता दे कि भारत की कोई नेशनल Language नहीं है और इसका कारण आप भी जान गए होंगे क्योंकि इंडिया में बहुत सारी भाषा बोली जाती है। ऐसे में किसी एक भाषा को नेशनल लैंग्वेज बनाने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। इंग्लैंड और अमेरिका जैसे देशों की राष्ट्रीय भाषा अंग्रेजी है क्योंकि उन देशों में ज्यादातर लोग अंग्रेजी बोलते और समझते है।
तो चलिए जानते हैं भारत में कुल कितनी भाषाएं हैं वैसे इंडिया में करीब 40 फीसदी लोग हिंदी बोलते और समझते है। इसके अलावा यह देश की सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा है लेकिन फिर भी इसे नेशनल Language नहीं बनाया गया है। ऐसा नहीं है कि इसकी कोशिश नहीं की गयी हो कई बार हिन्दी को देश की राष्ट्रीय भाषा बनाने की पहल की गयी है लेकिन इसका विरोश देखने को मिलता है और सबसे ज्यादा विरोध दक्षिण भारत के लोग करते हैं क्योंकि उन्हें लगता है हिंदी उनपर जबरजस्ती थोपी जा रही है।
भारत में कुल कितनी भाषा बोली जाती है
भारतीय संविधान में सिर्फ 22 भाषा को मान्यता प्राप्त है 2011 के आंकड़ों के अनुसार ऐसे लोग जो 10,000 से ज्यादा एक भाषा को बोलते हैं ऐसी 122 भाषाएं भारत में बोली और समझी जाती हैं। पूरे भारत में कितनी भाषाएं बोली जाती है इसका सही तरीके से अनुमान लगाना तो मुश्किल है क्योंकि भारत में बहुत सी भाषाएँ बोली और समझी जाती है।
हिन्दी और अंग्रेजी केंद्र सरकार की अधिकारिक भाषा है इसलिए आपको सभी सरकारी काम हिन्दी और इंग्लिश भाषा में देखने को मिलते है हालाकि राज्य सरकार की अपनी अलग भाषा हो सकती है जैसे आप दक्षिण भारत में जाते है तो वहां आपको कन्नड़, मलयालम, तेलुगु या फिर तमिल देखने को मिलेगी। भारत में 22 भाषा को संविधानिक रूप से आधिकारिक भाषा का दर्जा दिया गया है जिनके नाम निम्नलिखित है।
- हिंदी
- बंगाली
- असमिया
- बोडो
- डोंगरी
- गुजराती
- तमिल
- तेलुगू
- उर्दू
- सिंधी
- संथाली
- संस्कृति
- पंजाबी
- ओरिया
- नेपाली
- मराठी
- मणिपुरी
- मलयालम
- मैथिली
- कश्मीरी
- कनाडा
- कोंकड़ी
आपको बता दे कि ऊपर दी गयी 22 भाषा को देश की करीब 90 प्रतिशत आबादी बोलती और समझती है। हालाकि इनका एरिया अलग अलग है इन भाषाओं को भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची के तहत सूचीबद्ध कर राजभाषा की संज्ञा दी गई है।
भारत में 122 भाषाएं कौन कौन सी है
भारतीय संविधान में 22 भाषाओं को मान्यता प्राप्त हैं लेकिन इसके साथ कुल 122 भाषाएं हैं जिन्हें 5 ग्रुप में बांटा गया है तो चलिए इनकी सूची देख लेते हैं।
1. इंडो-युरोपियन
(a) इंडो आर्यन (indo Aryan)
- बंगाली
- असामीज
- भिल्ली / भीलोडी
- बिश्नुपुरीया
- डोगरी
- गुजराती
- हलाबी
- हिंदी
- कश्मीरी
- खांदेशी
- कोंकणी
- लाहदा
- मठली
- मराठी
- नेपाली
- उडिया
- पंजाबी
- संस्कृत
- शिना
- सिंधी
- उर्दू
(b) ईरानियन (Iranian)
- अफगानी
- पश्तो
(c) जर्मनिक (Germanic)
- अंग्रेजी
2. द्रविड़ियन
- कोंगेई / कोडागु
- गोंडी
- जाटापू
- कन्नड
- खोंड / कोंढ
- किसन
- कोलामी
- कोंडा
- कोया
- कुई
- क्रू / ओरॉन
- मलयालम
- माल्टो
- परजी
- तेलगु
- तमिल
- तुलु
3. ऑस्ट्रो-एशियन
- भुज
- गडबा
- हो
- जुआंग
- खरिया
- खासी
- कोडा / कोरा
- कोरकू
- कोरवा
- मुंडा
- मुंदरी
- निकोबरेसे
- संताली
- सवारा
4. तिबेटो-बूर्मेस
- गुल
- अंगामी
- एओ
- बाल्टी
- भोतिया
- बोडो
- चकसांग
- चक्रकु / चोकरी
- चांग
- देरी
- दिमासा
- गंगटे
- गारो
- हलाम
- हंबर
- काबई
- कार्बी / मिकिर
- खेझा
- करीमनुंगण
- किन्नौरी
- कोच
- कोम
- कोनीक
- कूकी
- लद्खी
- लाहौली
- लकहर
- लालुंग
- लेप्चा
- लिआंगमेई
- लिम्बु
- लोता
- लुशाई / मिजो
- मणिपुरी
- मारम
- मरींग
- मिरी / मशिंग
- मिश्मी
- मोग
- मोंपा
- निशी / डफला
- नोके
- पेठ
- पवी
- फाम
- पोचुरी
- राभा
- राय
- रेेंम्मा
- सांताम
- सेम
- शेरपा
- सिम
- तामंग
- तांगखुल
- तंगासा
- थडो
- तिबेटी
- त्रिपुरी
- वैफीई
- झी
- झू
- वांचो
- यिमचंग्रे
- झीलियांग
- जोऊ
5. सेमट्रो-हॅमिक
- अरबी / अर्बी
निष्कर्ष
तो अब आप भारत में कुल कितनी भाषा बोली जाती है इसके बारे में जान गए होंगे बहुत से लोगो को लगता है कि देश में हिंदी सबसे ज्यादा बोली जाती है तो भारत की नेशनल Language हिन्दी होगी लेकिन ऐसा नहीं है।
इंडिया की फिलहाल कोई राष्ट्रीय भाषा नहीं है हिंदी को राष्ट्रीय भाषा बनाने की पहल की जा चुकी है लेकिन इसके विरोध के कारण इसे राष्ट्रीय भाषा का दर्जा हासिल नहीं हुआ है। हालाकि हिंदी और अंग्रेजी को भारत सरकार की तरफ से ऑफिसियल लैंग्वेज का का दर्जा मिला है।
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